बिकेश दास 'भास्कर बोस' का दूसरा मुख्य पात्र है और भास्कर का सहभागी भी। वह मुंबई पुलिस में एक कॉनस्टेबल है।
जीवनी[]
भास्कर की तरह बिकेश का जन्म भी कोलकाता में हुआ था, और वह बाद में मुंबई आया। उसके पूर्व जीवन के बारे में ज़्यादा नहीं बताया गया है लेकिन वह अक्सर कोलकाता के किसी "বৌদি" (बोदी) का ज़िक्र करता है, जो शायद उसकी पत्नी, या भास्कर की माँ हो सकती है। वह ज़्यादातर नए मामलों का पता लगाता है और भास्कर को खबर दिलाता है। एपिसोड 'Prime Time Crime' में बिकेश ने अपने चीफ़ से कहकर कॉन्स्टेबल के पद को छोड़ना चाहा क्योंकि उसे लगा कि भास्कर अब नहीं रहा।
उसे भास्कर को इनसाफ़ दिलाने का एक आखिरी मौका दिया गया था जिसके दौरान वह भास्कर के भेष बलविंदर बग्गा से मिला। एपिसोड 'It's a Mad MAD World' में बिकेश को मुंबई पुलिस के किसी ऊँचे पद पर उन्नत किया गया था, पर यह नहीं बताया गया है कि वह पद क्या है।
व्यक्तित्व[]
बिकेश आसानी से केस से मन भटका लेता है और उसे "खुबसूरत लड़कियों" से बातें करना पसंद है। वह भास्कर को अक्सर उसके केस को सुलझाने के तरीके की वजह से टोकता है और जब भी भास्कर उसे अपनी आगे की योजना नहीं बताता, वह सब जानने की ज़िद करता है। बिकेश ज़्यादातर मामलों में भास्कर को पीछे खींचने की कोशिश करता है क्योंकि वह जोखिम नहीं उठाना चाहता था, जैसा 'The Graveyard Shift' और 'Train to Mars' में देखा गया था। बिकेश ही आखिर में वह व्यक्ति होता है जो भास्कर के केस सुलझाने के बाद मुजरिम को गिरफ़्तार किए जाने का आदेश देता है।